“तंदरुस्ती की राह: बिना जिम, बिना दवा – सिर्फ अनुशासन और अभ्यास”:FAT LOSS

FAT LOSS:फैट लॉस कोई एक रात में होने वाला चमत्कार नहीं है, बल्कि ये आपके छोटे-छोटे रोज़ के प्रयासों का नतीजा होता है। अगर आप सच में शरीर की अतिरिक्त चर्बी से छुटकारा पाना चाहते हैं, तो सबसे पहले अपनी दिनचर्या को संतुलित करना होगा। इसमें तीन चीज़ें सबसे ज़रूरी हैं — संतुलित आहार, नियमित व्यायाम और मानसिक शांति। फैट घटाने के लिए सिर्फ भूखा रहना या डाइटिंग करना काफी नहीं होता, बल्कि शरीर को सही मात्रा में पोषण देना भी उतना ही जरूरी है। वहीं दूसरी ओर, रोज़ाना 30 से 40 मिनट की कार्डियो एक्सरसाइज जैसे तेज़ चलना, हल्की दौड़, साइकलिंग या डांस फैट बर्निंग के लिए बेहद असरदार होती हैं। इसके साथ-साथ कपालभाति और भस्त्रिका प्राणायाम जैसे योगिक अभ्यास पेट की चर्बी को तेजी से कम करने में मदद करते हैं। सबसे जरूरी बात यह है कि आप जो भी करें, उसमें निरंतरता और धैर्य बनाए रखें। फैट लॉस का सफर धीरे-धीरे होता है, लेकिन अगर आप ईमानदारी से प्रयास करते रहेंगे, तो परिणाम ज़रूर दिखाई देंगे। याद रखें, फिट दिखने से भी ज्यादा जरूरी है खुद को अंदर से स्वस्थ और मजबूत महसूस करना।

मोटापा मुक्ति:


मोटापा के कारण

1) शरीर की आवश्यक्ता से ज्याद केलोरी वाला भोजन खाना।

2) मेटाबोलिस्म (चयापचय) की दर कम होना।

3) थायराईड अथवा पीयूष ग्रंथि (पिचुट्री) के विकार।

4) अधिक समय बैठक का जीवन।

5) हार्मोन का असंतुलन होना।
निवारक 1

चर्बी घटाने के लिये व्यायाम बेहद आवश्यक उपाय है।एरोबिक कसरतें लाभप्रद होती हैं। आलसी जीवन शैली से मोटापा बढता है। अत: सक्रियता बहुत जरूरी है।
निवारक 2


शहद मोटापा निवारण के लिये अति महत्वपूर्ण पदार्थ है। एक चम्मच शहद आधा चम्मच नींबू का रस गरम जल में मिलाकर लेते रहने से शरीर की अतिरिक्त चर्बी नष्ट होती है। यह दिन में ३ बार लेना कर्तव्य है।
निवारक 3


पत्ता गोभी(बंद गोभी) में चर्बी घटाने के तत्व होते हैं। इससे शरीर का मेटाबोलिस्म ताकतवर बनता है। फ़लत: ज्यादा केलोरी का दहन होता है। इस प्रक्रिया में चर्बी समाप्त होकर मोटापा निवारण में मदद मिलती है।
निवारक 4

पुदीना में मोटापा विरोधी तत्व पाये जाते हैं। पुदीना रस एक चम्मच २ चम्मच शहद में मिलाकर लेते रहने से उपकार होता है।
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सुबह उठते ही २५० ग्राम टमाटर का रस २-३ महीने तक पीने से शरीर की वसा में कमी होती है।
निवारक 6


गाजर का रस मोटापा कम करने में उपयोगी है। करीब ३०० ग्राम गाजर का रस दिन में किसी भी समय लेवें।
निवारक 7

एक अध्ययन का निष्कर्ष आया है कि वाटर थिरेपी मोटापा की समस्या हल करने में कारगर सिद्ध हुई है। सुबह उठने के बाद प्रत्येक घंटे के फ़ासले पर २ गिलास पानी पीते रहें। इस प्रकार दिन भर में कम से कम २० गिलास पानी पीयें। इससे विजातीय पदार्थ शरीर से बाहर निकलेंगे और चयापचय प्रक्रिया(मेटाबोलिस्म) तेज होकर ज्यादा केलोरी का दहन होगा ,और शरीर की चर्बी कम होगी। अगर २ गिलास के बजाये ३ गिलास पानी प्रति घंटे पीयें तो और भी तेजी से मोटापा निवारण होगा।
निवारक 8

कम केलोरी वाले खाद्य पदार्थों का उपयोग करें। जहां तक आप कम केलोरी वाले भोजन की आदत नहीं डालेंगे ,मोटापा निवारण दुष्कर कार्य रहेगा। अब मैं ऐसे भोजन पदार्थ निर्देशित करता हूं जिनमें नगण्य केलोरी होती है।
अपने भोजन में ये पदार्थ ज्यादा शामिल करें

नींबू

जामफ़ल (अमरुद)

अंगूर

सेवफ़ल

खरबूजा

जामुन

पपीता

आम

संतरा

पाइनेपल

टमाटर

तरबूज
बैर

स्ट्राबेरी
सब्जीयां जिनमें नहीं के बराबर केलोरी होती है

पत्ता गोभी

फ़ूल गोभी

ब्रोकोली

प्याज

मूली

पालक

शलजम

सौंफ़

लहसुन
महत्व पूर्ण आहार

1) कम नमक,कम शकर उपयोग करें। 

2) अधिक वसा युक्त भोजन पदार्थ से परहेज करें। तली गली चीजें इस्तेमाल करने से चर्बी बढती है। वनस्पति घी हानिकारक है। 

3) सूखे मेवे (बादाम,खारक,पिस्ता) ,अलसी के बीज,ओलिव आईल में उच्चकोटि की वसा होती है। इनका संतुलित उपयोग उपकारी है। 

4) शराब का सेवन न करें। 

5) अदरक चाकू से बरीक काट लें ,एक नींबू की चीरें काटकर दोनो पानी में ऊबालें। सुहाता गरम पीयें। बढिया उपाय है। 

6) रोज पोन किलो फ़ल और सब्जी का उपयोग करें। 

7) ज्यादा कर्बोहायड्रेट वाली वस्तुओं का परहेज करें।शकर,आलू,और चावल में अधिक कार्बोहाईड्रेट होता है। ये चर्बी बढाते हैं। सावधानी बरतें। 

8) केवल गेहूं के आटे की रोटी की बजाय गेहूं सोयाबीन,चने के मिश्रित आटे की रोटी ज्यादा फ़यदेमंद है। 

9) शरीर के वजने को नियंत्रित करने में योगासन का विशेष महत्व है। कपालभाति,भस्त्रिका का नियमित अभ्यास करें।। 

10) सुबह आधा घंटे तेज चाल से घूमने जाएं। वजन घटाने का सर्वोत्तम तरीका है। 

11) भोजन मे ज्यादा रेशे वाले पदार्थ शामिल करें। हरी सब्जियों ,फ़लों में अधिक रेशा होता है। फ़लों को छिलके सहित खाएं। आलू का छिलका न निकालें। छिलके में कई पोषक तत्व होते हैं। 

12) खाने का सामान ऐसी जगह न रखें, जहां आपकी नजर अक्सर पड़ती हो। अन्यथा आप चलते-फिरते खाते रहेंगे। अगर ये खाद्य पदार्थ आंखों से ओझल होंगे, तो शरीर को जरूरत महसूस होने पर ही आप खाने की सोचेंगे। 

13) सुबह-सुबह उठने के साथ ही एक गिलास दूध ( गाय का) पीना शुरू कर दें। प्रोटीन की ये खुराक आपको भारी नाश्ते की तलब से बचाएगी। 

14) पेट व कमर का आकार कम करने के लिए सुबह उठने के बाद या रात को सोने से पहले नाभि के ऊपर के उदर भाग को ‘बफारे की भाप’ से सेंक करना चाहिए। इसके लिये एक तपेली पानी में एक मुट्ठी अजवायन और एक चम्मच नमक डालकर उबलने रख दें। जब भाप उठने लगे, तब इस पर जाली या आटा छानने की छन्नी रख दें। दो छोटे नैपकिन या कपड़े ठंडे पानी में गीले कर निचोड़ लें और तह करके एक-एक कर जाली पर रख गरम करें और पेट पर रखकर सेंकें। प्रतिदिन 10 मिनट सेंक करना पर्याप्त है। कुछ दिनो में पेट का आकार घटने लगेगा।
 
 
 

निष्कर्ष

फैट लॉस कोई तात्कालिक उपाय नहीं है, बल्कि एक अनुशासित जीवनशैली का परिणाम है। जब आप अपने खान-पान पर नियंत्रण रखते हैं, नियमित रूप से व्यायाम करते हैं और अपने मानसिक स्वास्थ्य का भी ध्यान रखते हैं, तभी असली और स्थायी बदलाव संभव होता है। भूखे रहना या एक्सट्रीम डाइटिंग से शरीर कमजोर हो सकता है, लेकिन संतुलित आहार और सही एक्सरसाइज से फैट को प्राकृतिक रूप से कम किया जा सकता है। प्राणायाम, सूर्य नमस्कार और कार्डियो एक्सरसाइज को मिलाकर जब आप रोज़ अभ्यास करते हैं, तो शरीर न सिर्फ पतला होता है, बल्कि भीतर से स्वस्थ, ऊर्जावान और संतुलित भी महसूस करता है। फैट लॉस की इस यात्रा में सबसे जरूरी है

 

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